Kantara Chapter 1 review की बात करे तो यह रिशभ शेट्टी की वह फ़िल्म है जिसने Indian Cinema को फिर से भारतीय लोककथा, spirituality और culture की जड़ों से जोड़ा है। यह फिल्म न सिर्फ़ मनोरंजन के लिए बेहतर है बल्कि एक अद्भुत mythological folklore experience देती है।

Kantara Chapter 1 review स्टोरीलाइन
फिल्म की कहानी 301 CE में स्थापित की गई है, जहाँ सत्ता, लालच और प्रकृति के बीच जंग देखने को मिलती है। महाराज विजयेंद्र (Jayaram) और उनके परिवार की कहानी सत्ता संघर्ष से शुरू होती है, लेकिन असली संघर्ष तब सामने आता है जब tribal community अपनी जमीन और अपने अस्तित्व की रक्षा के लिए उठ खड़ी होती है। Rishab Shetty as Bireme एक योद्धा और प्रतीकात्मक किरदार के रूप में उभरते हैं, जो समाज और प्रकृति के बीच सामंजस्य बनाने की कोशिश करते हैं।
दमदार किरदार जो दिल जीत ले
- Rishab Shetty (Bireme) – फिल्म का सबसे अहम किरदार । उनका intense अभिनय और स्क्रीन प्रेज़ेन्स movie को और भी शानदार बनाता है।
- Rukmini Vasanth (Kanakavati) – उनकी भूमिका कहानी को गहराई देती है और emotional balance बनाए रखती है।
- Jayaram (Vijayendra) – अनुभवी अदाकारी से राजा का व्यक्तित्व प्रभावशाली बनाते हैं।
- Gulshan Devaiah (Kulasekhara) – negative role में बेहद असरदार और डर पैदा करने वाला प्रदर्शन।

Highlights of Kantara Chapter 1
Kantara Chapter 1 review को देखे तो यह एक ऐसी फिल्म है जिसमें folklore और spirituality का combo देखने को मिलता है। फिल्म का पहला हाफ दर्शकों को दमदार action scenes और tribal conflicts से बांधे रखता है, जबकि दूसरा हाफ सत्ता संघर्ष, भावनाओं और गहरी emotional depth को दिखाता है। खासकर Guliga sequence इतना प्रभावशाली है कि दर्शकों के रोंगटे खड़े हो जाते हैं। हालांकि कुछ हिस्सों में VFX साधारण नज़र आते हैं, लेकिन मजबूत कहानी और शानदार visuals उन्हें पूरी तरह संतुलित कर देते हैं।
- Kantara Chapter 1 सिर्फ़ एक फिल्म नहीं, बल्कि एक cultural phenomenon है। यह फिल्म भारतीय लोककथा को भव्य सिनेमाई अंदाज में दिखाती है और Indian Mythology को modern screen पर नए रूप में जीवित करती है।